
जैसे कि बाइबल सिखाती है कि हमें अपने भले कामों के द्वारा परमेश्वर की महिमा को चमकाना चाहिए, हमने एक छोटे भले काम के द्वारा अपने पड़ोसियों को स्वर्गीय पिता और माता की महिमा दिखाने के लिए एक स्वयंसेवकों की टीम बनाई है। हमारी टीम का नाम “झिलमिलाहट” रखा गया; हम केवल अपने चर्च के आसपास के बाजार को ही नहीं, लेकिन चौड़े रास्ते और सकरी गलियों को भी साफ करना चाहते थे ताकि वे सब झिलमिला सकें। हमने तय किया कि हम हर सप्ताह गुरुवार के दिन सफाई करेंगे।
“झिलमिलाता हुआ प्रेममय मन! झिलमिलाती हुई मुस्कुराहट! हम चलें! वाह!”
सफाई के पहले दिन हमने जोर–जोर से नारे लगाकर सड़कों की सफाई करना आरंभ किया। हमारा चर्च एक बाजार में स्थित है, इसलिए सभी सड़कें गंदी हैं। विशेषकर, गलियों के कोने–कोने पर बहुत सा कचरा था जो न जाने कब से वहां पड़ा था। हमने बहुत से सिगरेट के बचे टुकड़े और सभी प्रकार की गंदगियों को साफ किया और फूलों की क्यारियों से जंगली पौधों को भी हटाया। सभी कोनों और दरारों में देखते हुए हमने सब कुछ साफ किया ताकि कुछ भी कचरा न छूट जाए। जैसे–जैसे हम ऐसी स्वयंसेवा करते गए, सड़कें साफ होती गईं, और सफाई करने के दौरान हम अपने पास से गुजरनेवाले हर किसी का चमकदार मुस्कान के साथ अभिवादन करते थे।
एक बार, दो बार, तीन बार… जैसे–जैसे हमारी स्वयंसेवाओं की संख्या बढ़ती गई, हमारे प्रति दुकानदारों का व्यवहार भी बदलता गया। वे हमारे पास आकर अभिवादन करते हुए कहने लगे, “आपकी मेहनत के लिए धन्यवाद।” कुछ दुकानदार तो हमारे सफाई शुरू करते समय अपनी दुकानों के आसपास सफाई करने लगे।
एक कपड़े की दुकान की मालकिन ने हमारे सफाई करके लौटने का इंतजार करके हमें कॉफी परोस दी। उसने कहा, “मैं आपकी सेवा से प्रभावित हुई हूं जो आपने लोगों को दिखावा न करते हुए ईमानदारी से की है।” बाद में उसने सत्य भी ग्रहण किया। उसने खुशी से कहा कि, “मैं इस अच्छे चर्च की सदस्य बनने पर बहुत खुश हूं।” एक और व्यक्ति है जिसे हमसे जुड़कर स्वयंसेवा करते हुए बाइबल के प्रति दिलचस्पी होने लगी। जब भी उसके पास समय था, वह चर्च में आया और उसने बाइबल का अध्ययन शुरू किया।
पहले, हम सोचते थे कि सड़क केवल चलने के लिए ही होती है। लेकिन वह एक ऐसी जगह बन गई है जहां हम भले काम कर सकते हैं और बहुत सी आत्माओं की उद्धार की ओर अगुआई कर सकते हैं।
आगे भी हम अपने पड़ोसियों के साथ खुशियां बांटने के लिए स्वयंसेवा करना जारी रखेंगे। तब परमेश्वर की महिमा लोगों के मनों में झिलमिला उठेगी।
“झिलमिलाता हुआ प्रेममय मन! झिलमिलाती हुई मुस्कुराहट! हम चलें! वाह!”