मैंने तेरे लिये विनती की

वीरार पूर्व, महाराष्ट्र, भारत से किम मिन जी

8,147 बार देखा गया

जब मैं एक कालेज की छात्रा थी, तब मैंने बहुत सी सुसमाचार की गतिविधियों में भाग लिया था, लेकिन इनमें सबसे यादगार यह गतिविधि थी जिसमें मैंने कैंपस के लेक्चर रूम में सिय्योन के सदस्यों के साथ प्रार्थना सभा रखी थी।

क्लास शुरू होने से पहले हम सुबह 8 बजे इकट्ठे होते थे। मेरा घर कॉलेज से दूर था, इसलिए मुझे प्रार्थना सभा में शामिल होने के लिए सुबह 6 बजे मेट्रो पकड़नी होती थी। भले ही बहुत बार मैं अकादमिक पेपर लिखने और परीक्षा की तैयारी करने के कारण रात को देर से सोती थी और इसलिए मैं हर वक्त थकी रहती थी, लेकिन मेरा हृदय आनन्द से भरा रहता था।

हर सभा में हम बाइबल पढ़ते थे। निम्नलिखित एक वचन अब तक मेरे मन में बसा रहता है।

“शमौन, हे शमौन! देख, शैतान ने तुम लोगों को मांग लिया है कि गेहूं के समान फटके, परन्तु मैं ने तेरे लिये विनती की कि तेरा विश्वास जाता न रहे; और जब तू फिरे, तो अपने भाइयों को स्थिर करना।” लूक 22:31–32

‘फटकने’ का मतलब है, सूप में भरे हुए अनाजों को ऊपर–नीचे हिलाकर घास–फूस या धूल को हवा में उड़ा देना। यह दिखाता है कि शैतान परमेश्वर की संतानों को स्वर्ग जाने से रोकने के लिए उनके विश्वास को हिलाएगा। चूंकि यीशु पहले ही से जानते थे कि शमौन पतरस का विश्वास शैतान के द्वारा हिलाया जाएगा, इसलिए यीशु ने पतरस के लिए प्रार्थना की, और यीशु ने यह भी जानकर कि बहकाए जाने के बाद पतरस फिर से विश्वास प्राप्त करेगा, उससे अपने भाइयों की देखभाल करने का निवेदन किया।

बाइबल के इस वचन की व्याख्या सुनकर, मैंने महसूस किया कि आर्थिक समस्या, स्वास्थ्य की समस्या, अत्याचार इत्यादि जैसी बहुत सी परीक्षाओं के बावजूद, जो हमारे विश्वास को हिलाती हैं, हम अपने विश्वास को इसलिए सुरक्षित रख सके हैं, क्योंकि स्वर्गीय माता बिना आराम किए अपनी संतानों की आत्माओं के लिए दिन–रात प्रार्थना करती हैं। यह सब माता के प्रेम के कारण था।

माता के प्रेम और बलिदान को हमेशा स्मरण रखते हुए, मैं जैसे परमेश्वर बड़ी उत्सुकता से चाहते हैं, वैसे ही माता के हृदय से अपने भाइयों और बहनों की देखभाल करूंगी।